Phoolo Ka Taaro Ka Sabka Kehna Hai || फूलो का तारो का सबका कहना है || Jain Bhajan || जैन भजन

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फूलो का तारो का सबका कहना है,
एक हजारो मेंरे गुरुवर है,
सारी उमर गुरु की भक्ति करना है,
फूलो का तारो का सबका कहना हैं,
एक हजारो मेंरे गुरुवर है,
सारी उमर गुरु की भक्ति करना है,
फूलो का तारो का सबका कहना है।।

तर्ज – फूलो का तारो का सबका।

ये ना जाना दुनिया ने,
गुरु भक्ति में है प्यार,
जो भी करता गुरु भक्ति,
वो हो जाता भव से पार,
आ गुरु के पास आ,
कुछ पुण्य कमाना है,
एक हजारो मेंरे गुरुवर है,
सारी उमर गुरु की भक्ति करना है,
फूलो का तारो का सबका कहना है।।

भोली भाली समता की,
सूरत जैसा तू,
प्यारी प्यारी जादू की,
मूरत जैसा तू,
हम सभी भक्तो का,
यही तो कहना है,
एक हजारो मेंरे गुरुवर है,
सारी उमर गुरु की भक्ति करना है,
फूलो का तारो का सबका कहना है।।

देखो गुरूवर हम सब है,
एक डाली के फूल,
सब कुछ भूल जाना,
हमको ना जाना भूल,
उनके चरणों में जीवन बिताना है,
एक हजारो मेंरे गुरुवर है,
सारी उमर गुरु की भक्ति करना है,
फूलो का तारो का सबका कहना है।।

फूलो का तारो का सबका कहना है,
एक हजारो मेंरे गुरुवर है,
सारी उमर गुरु की भक्ति करना है,
फूलो का तारो का सबका कहना हैं,
एक हजारो मेंरे गुरुवर है,
सारी उमर गुरु की भक्ति करना है,
फूलो का तारो का सबका कहना है।।

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